@छत्तीसगढ़ लोकदर्शन, धमतरी/कुरुद। कन्या माध्यमिक शाला नारी जिनका अब युक्तियुक्त कारण के तहत शासकीय हाई स्कूल नारी में संविलियन हो गया है। यहां प्रधानपाठक द्वारा मध्यान्ह भोजन के चांवल को बेचने का मामला सामने आया है। गौरतलब है कि भारी मात्रा में चांवल स्टोरेज कर प्रधानपाठक उमराव सिंह निषाद ने पिक अप में लोड करवा कर बेंच दिया है मजेदार बात है कि स्कूल प्रबंधन और जनप्रतिनिधि भी मामले से अनजान बने हुए हैं। तीन महीने का चांवल एक साथ दिए जाने से पर्याप्त चांवल का स्टाक जमा का अवसर मिला। प्रधानपाठक ने इसे मौका बनाकर चांवल बेच दिया है। चूंकि प्रधानपाठक का यह कारनामा छत्तीसगढ़ खाद्य अधिनियम का अवहेलना तो है ही शिक्षा विभाग की छवि और कर्तव्य के प्रति घोर लापरवाही का मामला बनता है। देखना यह है कि प्रशासन इस मामले पर जांच बिठाती है या नहीं.?
स्थानीय जनप्रतिनिधि कुछ एक्शन लेते भी हैं या इन्हे गफलत करने की खुली छूट देते हैं।
पहले भी चला है मामला
कन्या स्कूल का यह पहला लापरवाही का मामला नहीं है जो उजागर हुआ है।
महीने भर पहले ही स्कूली छात्राओं से काम करवाए जाने का मामला बीईओ में चल ही रहा है। तब स्थानीय लोगों के संरक्षण और दबाव में बीईओ ने कोई कार्रवाई नहीं किया जिससे ऐसे लापरवाह कर्मचारियों को हौसला मिल जाता है। क्या अब बीईओ की विश्वसनीयता भी सवालों के घेरे में है या कुछ कार्रवाई होगी? यदि कार्रवाई नहीं होती है तो उच्चाधिकारियों तक इसकी शिकायत की जाएगी।
कबाड़ को बिना प्रस्ताव और शासकीय आदेश के बेंच दिया
एक दो नहीं बल्कि कई मामले हैं जिनसे लापरवाही साफ दिखाई देती है इससे पहले भी कबाड़ के सामग्री, और स्कूली मटेरियल को बिना किसी शासकीय आदेश और प्रस्ताव के बेचा गया है। प्रधानपाठक की स्वेच्छाचारिता से लोगों में आक्रोश है। उनके इस कृत्य से जन प्रतिनिधि सहित ग्रामवासी भी स्कूल विभाग के विश्वसनीयता पर प्रश्न चिह्न लगा रहे हैं।
BEO ने कहा, तत्काल संज्ञान लेता हूं–_
इस घटनाक्रम से अवगत कराने पर विकासखंड शिक्षा अधिकारी सीके साहू ने तत्परता दिखाते हुए कहा कि अभी लिखित शिकायत नहीं मिला है, फिर भी इस तरह की लापरवाही यदि हुआ है तो वह एक बड़ी लापरवाही है, मैं प्रधानपाठक से तुरंत ही संज्ञान लेता हूं।
पीएमश्री स्कूल में भी है ऐसा मामला..!
ऐसा ही मामला क्षेत्र के ही एक पीएम श्री स्कूल का भी है यहां तो मध्यान्ह भोजन की चांवल को प्रधानपाठक व्यक्तिगत रुप से अपनी गाड़ी में भरकर कहीं छोड़ देते हैं और बाद में बेचते हैं। पकड़ में आने के बाद और शिकायत के बाद भी उन पर कार्रवाई नहीं हुई है, यहां कुछ स्थानीय लोगों की संलिप्तता होने की बात बताई गई है। वहीं पीएम पीएम श्री स्कूल से प्राप्त फंड में भी हेराफेरी और नकली बिल बाउचर का लगाने की जानकारी मिली है।